Tuesday, May 19, 2020

एक सवाल / क्या होगा ... ??





लॉक डाउन 0.4 लगने के साथ
ही साथ कुछ रियायतें दी गई है और सभी जन में इस समय उठ रहे सवाल वाजिब है, जहां कोरोना का डर सभी में धीरे धीरे कम होता जा रहा है वहीं अब एक नया डर आम जन को सताने लगा है। हालांकि अभी पूरी तरह से सबकुछ खुला नही है। पर जब भी लॉक डाउन हटेगा तो क्या होगा ... ?? , ये सवाल सभी के मन में चल रहें है, कि रोजगार, नौकरियों, काम धंदों और अर्थव्यवस्था का क्या होगा। खैर सवाल तो बहुत से है पर सवालों की जगह अगर हम सब समाधानों को देखते हुए आगे बड़े तो निश्चित ही इसका हल जरूर निकलेगा और सकारात्मक सोच के साथ आगे बड़ते हुए हम आत्मनिर्भर बन पाएंगे, फिर जो भी होगा बहुत ही अच्छा होगा।

चित्र साभार The Perfect Liner
         The Perfect Liner by Karan Kumar


आज सभी के

मन में एक सवाल कौंध रहा होगा
कि लॉक डाउन के बाद क्या होगा
आज क्या है, और कल क्या होगा
किसको पता है कि कल क्या होगा
पर इस आशा के साथ कि जो भी होगा,
बहुत ही अच्छा होगा


मन में एक सवाल कौंध रहा होगा
फिर से नए सूरज का उदय होगा
आकाश में लालिमा लिए होगा
झंझा वातों से बाहर आना होगा
मन में एक सवाल कौंध रहा होगा
फिर इस आशा के साथ कि जो भी होगा,
बहुत ही अच्छा होगा


बिगड़ती अर्थव्यवस्था का क्या होगा
कल कारखानों का क्या होगा
आमजन के रोजगार का क्या होगा
अगर लाना है पटरी पर सब तो
एक जुटता का असर दिखाना होगा
फिर इस आशा के साथ कि जो भी होगा,
बहुत ही अच्छा होगा


निम्न वर्ग की शक्ति को फिर से जगाना होगा
हाथ उसका पकड़ कर
एक जुट होकर मिलकर चलना होगा
उसका सम्मान उसे दिलाना होगा
तभी तो राष्ट्र फिर से आत्मनिर्भर होगा
फिर इस आशा के साथ कि जो भी होगा,
बहुत ही अच्छा होगा


मन में एक सवाल कौंध रहा होगा
मेरे राष्ट्र का क्या होगा
आत्मनिर्भरता के लिए सभी
नियमों को अपनाना होगा
तभी तो राष्ट्र फिर पटरी पर होगा
फिर इस आशा के साथ कि जो भी होगा,
बहुत ही अच्छा होगा


नव चेतना को सभी में जगाना होगा
देश के हर नागरिक को योद्धा बनना होगा
सभी ने मिलकर बीड़ा उठाना होगा
तभी तो इस मझदार से पार पाना होगा
फिर इस आशा के साथ कि जो भी होगा,
बहुत ही अच्छा होगा
मन में एक सवाल कौंध रहा होगा


माँ वसुंधरा का भी रक्षण करना होगा
अर्थव्यवस्था के साथ साथ,
सभी में जागृति को लाना होगा
अब तक हुई भूल को नही दौहराना होगा
जन जीवन में इस पाठ को पढ़ाना होगा
सभी ने मिलकर बीड़ा उठाना होगा
तभी तो माँ वसुंधरा का कर्ज चुकता होगा
फिर इस आशा के साथ कि जो भी होगा,
बहुत ही अच्छा होगा


विदेशी को त्याग, स्वदेशी को अपनाना होगा
तभी तो देश के अर्थ से
देश का सम्पूर्ण विकास होगा
फिर एक बार हमारा राष्ट्र
पहले पायदान पर आएगा
और हमारा देश आत्मनिर्भर होगा
इस आशा के साथ कि जो भी होगा,
बहुत ही अच्छा होगा

18 comments:

  1. Bahut hi acchha vichar hai, bahut hi acchha hoga

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  2. आज के संदर्भ में बहुत सुंदर रचना है।इस आशा के साथ कि अच्छा ही आएगा । हमें बीड़ा उठाना है स्वदेशी को अपनाना है देश के विकास में सहयोग करना है। 👏👏

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  3. Ati sunder positive soch hi hamme stand karegi

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  4. आशा का संचार करती बहुत सुन्दर रचना...।

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  5. जी नमस्ते,
    आपकी इस प्रविष्टि् के लिंक की चर्चा शनिवार(२३-०५-२०२०) को 'बादल से विनती' (चर्चा अंक-३७१०) पर भी होगी
    चर्चा मंच पर पूरी पोस्ट अक्सर नहीं दी जाती है बल्कि आपकी पोस्ट का लिंक या लिंक के साथ पोस्ट का
    महत्वपूर्ण अंश दिया जाता है।
    जिससे कि पाठक उत्सुकता के साथ आपके ब्लॉग पर आपकी पूरी पोस्ट पढ़ने के लिए जाये।
    आप भी सादर आमंत्रित है
    **
    अनीता सैनी

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    Replies
    1. अनिता जी,
      नमस्कार,

      मेरी रचना को चर्चा अंक में शामिल करने के लिए आपका हार्दिक आभार।

      सधन्यवाद ... 💐💐

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  6. सारगर्भित सृजन

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    Replies
    1. एक नई सोच पर आपका स्वागत है .. 💐💐

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  7. सवाल कई हैं जिनके उत्तर भविष्य के गर्त में छुपे हैं, सबकुछ तो नहीं पर बहुत कुछ बदल जाएगा lockdown ke बाद
    बहुत सही प्रस्तुति

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